बीजेपी को अभी खुश होने की ज़रूरत नहीं, किसानो का जल्द शुरू होगा मिशन यूपी

बीजेपी को अभी खुश होने की ज़रूरत नहीं, किसानो का जल्द शुरू होगा मिशन यूपी

नई दिल्ली। कृषि कानूनों के खिलाफ एक साल से चल रहा किसान आंदोलन भले ही समाप्त होने चुका है लेकिन किसानो का अगला कदम मिशन यूपी है, जो जल्द शुरू होगा।

भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत ने वरिष्ठ पत्रकार अजीत अंजुम से बात करते हुए कहा कि बिजली के बढे हुए रेट, गन्ने का भुगतान, एमएसपी पर खरीद, बंद गन्ना मिलो को चालू कराने की मांग को लेकर मिशन यूपी शुरू होगा।

उन्होंने कहा कि कृषि कानूनों को लेकर आंदोलन दिल्ली में करना था, अब यूपी की समस्या को लेकर आंदोलन यूपी में होगा। उन्होंने कहा कि हम किसानो से जुड़े अहम मुद्दों पर यूपी में अपनी आवाज़ बुलंद करेंगे।

राकेश टिकैत ने कहा कि संयुक्त मोर्चा था, है और रहेगा। उन्होंने कहा कि संयुक्त किसान मोर्चा सभी मुद्दों पर अपनी आवाज़ उठता रहेगा। बैंको के निजीकरण को लेकर राकेश टिकैत ने कहा कि इससे बहुत सारे लोग बेरोज़गार होंगे।

इससे पहले गुरुवार को किसान आंदोलन समाप्त होने के एलान के बाद राकेश टिकैत ने ट्वीट कर कहा, “1 साल 13 दिन चला किसानों का आंदोलन समस्याओं के समाधान की परिणति को प्राप्त हुआ। किसान एकता से मिली यह कामयाबी 709 शहीदों को समर्पित। किसान हकों की लड़ाई जारी रहेगी।”

गौरतलब है कि किसान नेता राकेश टिकैत विधानसभा चुनाव से पहले यूपी में मिशन यूपी की शुरुआत करने का एलान कर चुके हैं। कई अहम मौको पर उन्होंने उत्तर प्रदेश में बिजली के बढे रेट, गन्ना किसानो के बकाये का भुगतान न होने सहित कई मुद्दों पर यूपी सरकार को कटघरे में खड़ा किया है।

राकेश टिकैत ने कहा था कि मिशन यूपी के तहत उत्तर प्रदेश में जगह जगह किसान पंचायतो का आयोजन किया जाएगा और किसानो से जुड़े मुद्दों को सरकार और प्रशासन के सामने उठाया जाएगा।

सूत्रों की माने तो कृषि कानूनों के खिलाफ एक साल से अधिक चला किसान आंदोलन भले ही समाप्त हो गया है लेकिन उत्तर प्रदेश के लखीमपुर में हुई घटना को लेकर आरोपी आशीष मिश्रा के पिता गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा की बर्खास्तगी और गिरफ्तारी की मांग अभी भी बनी हुई है।

ऐसे उत्तर प्रदेश के विधानसभा चुनाव को लेकर भारतीय जनता पार्टी को अभी खुश होने की ज़रूरत नहीं है, क्यों कि कृषि कानूनों को वापस लेने के मुद्दे पर केंद्र सरकार को झुकाने के बाद अब किसानो का अगला लक्ष्य उत्तर प्रदेश ही है।

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TeamDigital