फिर हुई किरकिरी : प्रणव पांड्या ने ठुकराया मोदी सरकार का राज्यसभा सांसद बनने का ऑफर
नई दिल्ली । जल्दबाज़ी और भावुकता भरे फैसले ने भारतीय जनता पार्टी और मोदी सरकार को एक बार फिर शर्मनाक स्थति में डाल दिया है । अखिल विश्व गायत्री परिवार के प्रमुख प्रणव पांड्या ने राज्यसभा सांसद बनने से इनकार कर दिया है। मोदी सरकार ने उन्हें राज्यसभा के लिए मनोनीत किया था। सरकार के फैसले से साफ़ ज़ाहिर है कि पांड्या के मनोनयन से पहले उनसे राय नहीं ली गई थी ।
पांड्या के मनोनयन की घोषणा 4 मई को की गई थी। लेकिन 6 मई को उन्होंने कहा कि यह पद उनकी हैसियत के हिसाब से छोटा है। पांड्या का इनकार जहां नरेंद्र मोदी सरकार के लिए झटका है, वहीं इस बात की अटकलें एक बार फिर जोर पकड़ सकती है कि क्या अब अभिनेता अनुपम खेर, पत्रकार रजत शर्मा और फिल्म राइटर सलीम खान में से किसी एक का नाम आ सकता है?
सात खाली सीटों के लिए पांड्या सरकार की ओर से नॉमिनेट किए गए सातवें सदस्य थे। गृह मंत्रालय के प्रवक्ता ने बताया था कि केंद्र सरकार की ओर से सिफारिश जाने के बाद राष्ट्रपति प्रणव मुखर्जी ने पांड्या को राज्य सभा के लिए नामांकित किया। इससे पहले 22 अप्रैल को सुब्रमण्यम स्वामी, नरेंद्र जाधव, नवजोत सिंह सिद्धू, सुरेश गोपी, स्वप्न दासगुप्ता और मैरीकोम को राज्य सभा भेजा गया था।
राज्यसभा के लिए कुल 12 सदस्य नॉमिनेट होते हैं। इसके तहत साहित्य, विज्ञान, खेल, कला और सामाजिक सेवाओं से जुड़े हुए लोगों को चुना जाता है। इनका चयन केंद्र सरकार करती है। पांड्या का नाम सामने आने से पहले सातवें सदस्य के तौर पर पत्रकार रजत शर्मा, अभिनेता सलमान खान के पिता सलीम खान और अनुपम खेर के चुने जाने के कयास लगाए जा रहे थे। पांड्या के नाम की चर्चा मीडिया में कहीं नहीं थी।