जिस राज्यसभा सीट के लिए सिंधिया ने छोड़ी थी कांग्रेस, उस पर कुदरत ने लगाए ब्रेक

जिस राज्यसभा सीट के लिए सिंधिया ने छोड़ी थी कांग्रेस, उस पर कुदरत ने लगाए ब्रेक

नई दिल्ली। राज्यसभा सीट के लिए मध्य प्रदेश के तर्ज तर्रार नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कांग्रेस छोड़कर कर बीजेपी का दामन थाम लिया लेकिन इसके बावजूद भी अभी तक उनका राज्यसभा जाने का सपना अधूरा है।

ज्योतिरादित्य सिंधिया कांग्रेस छोड़कर एक तीर से दो निशाने साधना चाहते थे। पहला निशाना कमलनाथ सरकार थी, इस पर तीर निशाने पर लगा लेकिन दूसरा निशाना राज्य सभा सीट थी। इस पर सिंधिया के तीर के निशाने को कुदरत ने फिलहाल रोक दिया है।

भारतीय जनता पार्टी में शामिल होने के बाद पार्टी ने ज्योतिरादित्य सिंधिया को मध्य प्रदेश की राज्यसभा सीट से उम्मीदवार तो घोषित कर दिया लेकिन कुदरत ने इस पर ब्रेक लगा दिए और देश में कोरोना संक्रमण फैलने के कारण कई राज्यों के राज्यसभा चुनावो को स्थगित कर दिया गया है।

मध्य प्रदेश में राज्यसभा की तीन सीटों के लिए चार उम्मीदवार मैदान में हैं। इनमे कांग्रेस से दिग्विजय सिंह और फूल सिंह बरैया, बीजेपी से ज्योतिरादित्य सिंधिया और सुमेर सिंह सोलंकी शामिल हैं। सभी प्रत्याशियों ने अपने नामांकन भी दाखिल कर दिए हैं।

आज 9 अप्रेल को राज्यसभा की 3 सीटें खाली हो रही हैं। कांग्रेस के राज्यसभा सांसद दिग्विजय सिंह, भाजपा के प्रभात झा और सत्यनारायण जटिया का राज्यसभा कार्यकाल 9 अप्रैल को पूरा हो रहा है।

इन तीनो सीटों के लिए 26 मार्च को चुनाव होना था लेकिन कोरोना संक्रमण को देखते हुए राज्यसभा के चुनाव स्थगित कर दिए गए हैं और चुनाव के लिए अभी नई तारीख का एलान नहीं हुआ है। मौजूदा हालातों को देखते हुए माना जा रहा है कि कांग्रेस छोड़कर बीजेपी में आये ज्योतिरादित्य सिंधिया को राज्यसभा का सांसद बनने के लिए लंबा इंतजार करना होगा।

गौरतलब है कि देश में राज्यसभा की 55 सीटें इस महीने खाली हो रही हैं। इनमें से 37 सीटों पर निर्विरोध चुना जाना तय है, बाकी 18 सीटों पर चुनाव के हालात बने हैं। उनमें से मध्‍य प्रदेश की 3 राज्यसभा सीटें भी शामिल हैं।

देश में कोरोना संक्रमण से उपजे हालातो को देखते हुए अभी कयास लगा पाना मुश्किल है कि चुनाव आयोग राज्य सभा चुनाव की नई तारीख का एलान कब करेगा।

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TeamDigital