मन की बात में पीएम मोदी ने चीन को लेकर कही ये बात
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नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने कार्यक्रम मन की बात के 66 वे एपिसोड में पड़ौसी देशो द्वारा मिल रही चुनौतियों का भी ज़िक्र किया। उन्होंने कहा कि भारत, मित्रता निभाना जानता है, तो, आंख-में-आंख डालकर देखना और उचित जवाब देना भी जानता है।
पढ़िए, पीएम मोदी द्वारा कही गई अहम बातें:
आपदाओं के बीच हमारे कुछ पड़ोसियों द्वारा जो हो रहा है, देश उन चुनौतियों से भी निपट रहा है। मोदी ने कहा कि लद्दाख में भारत की भूमि पर, आंख उठाकर देखने वालों को, करारा जवाब मिला है। भारत, मित्रता निभाना जानता है, तो, आंख-में-आंख डालकर देखना और उचित जवाब देना भी जानता है।
हमारा हर प्रयास इसी दिशा में होना चाहिए जिससे सीमाओं की रक्षा के लिए देश की ताकत बढ़े, देश और अधिक सक्षम बने, देश आत्मनिर्भर बने- यही हमारे शहीदों को सच्ची श्रद्धांजलि भी होगी।
अगर कोरोना संकट के दौरान आप मास्क नहीं पहनते हैं तो आप परिवार को संकट में डालते हैं।चुनौती आती रहती है। एक साल में एक चुनौती आए या फिर 50 चुनौती। इससे साल कभी खराब नहीं होता। भारत का इतिहास चुनौती से भरा रहा है।
भारत ने संकट को सफलता की सीढ़ियों में बदला है। महामारी पर लोग खूब बातें कर रहे हैं कि आखिर यह साल कब बीतेगा? उन्होंने कहा कि लॉकडाउन से ज्यादा अनलॉक में सतर्क रहने की जरूरत है तभी कोरोना से अपने आपको और परिवार को संक्रमण से बचाया जा सकता है।
भारत ने जिस तरह मुश्किल समय में दुनिया की मदद की, उसने आज शांति और विकास में भारत की भूमिका को और मजबूत किया है। दुनिया ने भारत की विश्व बंधुत्व की भावना को भी महसूस किया है। अपनी संप्रभुता और सीमाओं की रक्षा करने के लिए भारत की ताकत और भारत के कमिटमेंट को देखा है।
भारत का संकल्प है- भारत के स्वाभिमान और संप्रभुता की रक्षा। भारत का लक्ष्य है– आत्मनिर्भर भारत। भारत की परंपरा है– भरोसा, मित्रता। भारत का भाव है– बंधुता। हम इन्हीं आदर्शों के साथ आगे बढ़ते रहेंगे।
भारत में जहां एक तरफ बड़े-बड़े संकट आते गए, वहीं सभी बाधाओं को दूर करते हुए अनेकों-अनेक सृजन भी हुए। नए साहित्य रचे गए, नए अनुसंधान हुए, नए सिद्धांत गड़े गए, यानि संकट के दौरान भी हर क्षेत्र में सृजन की प्रक्रिया जारी रही और हमारी संस्कृति पुष्पित-पल्लवित होती रही। इसी साल में, देश नए लक्ष्य प्राप्त करेगा, नई उड़ान भरेगा, नई ऊंचाइयों को छुएगा। मुझे, पूरा विश्वास, 130 करोड़ देशवासियों की शक्ति पर है, आप सब पर है, इस देश की महान परम्परा है।