पिछड़ों को अपने पिछड़ेपन का अहसास हो जाये तो बहुजन समाज अपना भविष्य स्वयं लिखने लगेगा : लक्ष्य

पिछड़ों को अपने पिछड़ेपन का अहसास हो जाये तो बहुजन समाज अपना भविष्य स्वयं लिखने लगेगा : लक्ष्य

सीतापुर-हरगांव। लक्ष्य की महिला टीम ने बहुजन जनजागरण अभियान के तहत एक भीम चर्चा का आयोजन सीतापुर के हरगांव के सहदेवपुरवा गांव में किया।

चर्चा में भाग लेते हुए वक्ताओं ने कहा कि वैसे तो बहुजन समाज बहुत विशाल है लेकिन दूषित मानशिकता वाले लोगों के कारण हजारों जातियों में बटा हुआ है और इसी कारण हजारों वर्षो से उसकी दुर्दशा बनी हुई है तथा वे उस दुर्दशा के दलदल में मस्त हो गए है लेकिन इसके विपरीत जो लोग बाबा साहब डॉ भीमराव अम्बेडकर के बताये मार्ग पर चलने लगे है। उनका मनोबल बढ़ने लगा है और वे अपने अधिकारों के लिए संघर्ष करने लगे है। जिसमें विशेषतौर से अनुसूचित जाति व जनजाति के लोग है।

वक्ताओं ने कहा कि पिछड़ा वर्ग जो देश की जनसँख्या का आधे से भी ज्यादा है और जिसको बहुजन आंदोलन में अहम् भूमिका निभानी चाहिए थी वह उस आंदोलन को समझने का प्रयास नहीं कर रहा है क्योंकि वो अंधविस्वास में जकड़ा हुआ है तथा वो अपने महापुरुषों के योगदान को समझने का प्रयास भी नहीं कर रहा है। अगर पिछड़ों को अपने पिछड़ेपन का अहसास हो जाये तो बहुजन समाज अपना भविष्य स्वयं लिखने लगेगा। यह बात लक्ष्य की महिला कमांडर रेखा आर्या, मुन्नी बौद्ध ने कही।

इस भीम चर्चा में कमांडर रेखा आर्या, मुन्नी बौद्ध, कमला चौधरी, रूबी गौतम, अंतिमा पुष्कर, बबली गौतम, प्रीति गौतम, निधि गौतम,लक्ष्मी गौतम, विजय गौतम, सुरेश गौतम, परवीन गौतम, रवि प्रकाश गौतम, ओमप्रकश गौतम, संजय गौतम, जीतू गौतम, श्रीकृष्ण गौतम व एम एल आर्या ने हिस्सा लिया।

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