अज़ीज़म मोहम्मद शिकेब अकरम को ख़िराज-ए-अक़ीदत
तहरीर : इमरान राक़िम और डॉ. मुज़फ्फ़र नाज़नीन, कोलकता
सूबा बिहार के मशहूर आलिम-ए-दीन हज़रत मौलाना अब्दुस्समद (रह.) और मुहतरमा अतीक़ा ख़ातून के साहबज़ादे मोहम्मद ख़ुर्शीद अकरम सोज़ से हमलोगों का गहरा क़लबी ताल्लुक़ है , उन्होंने हमलोगों को हमेशा अपने भाई जैसी मुहब्बत दी है और उनकी अहलिया मुहतरमा नुज़हत जहाँ क़ैसर भी ख़ुलूस का पैकर हैं .
गुज़श्ता 19 फ़रवरी को उनके फ़रज़ंद मोहम्मद शिकेब अकरम चेन्नई में एक सड़क हादसे का शिकार हो गए. वह अपने एक प्रोफ़ेसर के साथ बाइक पर कहीं जा रहे थे कि स्टेट ट्रांसपोर्ट की एक बस ने पीछे से टक्कर मार दी और दोनों ज़मीन पर गिर कर बेहोश हो गए , दोनों को Serious Internal Head Injury हुई .
दोनों को बेहोशी की हालत में Apollo Specialty Hospital- Chennai में भर्ती किया गया जहाँ 26 मार्च तक सर्जरी के साथ-साथ डॉक्टरों की हर तरह की कोशिश के बावजूद शिकेब को न तो होश आया और न ही उनकी हालत में कोई Remarkable Improvement दिखाई दिया . फिर 26 मार्च की शाम को Train Ambulance Service के ज़रिया शिकेब को मज़ीद इलाज के लिये कोलकता के Institute of Neuroscience रवाना किया गया, लेकिन 27 मार्च को वहाँ पहुँचने के थोड़ी देर बाद ही रात के तक़रीबन 11:30 बजे शिकेब अल्लाह को प्यारे हो गए.. इन्ना लिल्लाही व इन्ना इलैही राजिऊन !
! إِنَّا لِلَّٰهِ وَإِنَّ إِلَيْهِ رَاجِعُونَ !
मोहम्मद शिकेब अकरम ने इसी साल First Class Distinction के साथ Computer Science & Engineering ( CSE ) में B. Tech किया था और एक मल्टी नेशनल कंपनी में Associate Software Engineer की हैसियत से उनका प्लेसमेंट भी हो चुका था. वह निहायत होनिहार, मिलनसार और हरदिल-अज़ीज़ नौजवान थे. वह सौम-ओ-सलात के पाबंद थे और ज़रूरतमंदों की खामोशी से मदद किया करते थे । वह अपने असातज़ह ( Faculties ) के भी चहेते थे और अपने अहबाब ( दोस्तों ) और अज़ीज़-ओ-अक़ारिब ( रिश्तेदारों ) के भी प्यारे थे.
पद्मविभूषण मौलाना वहीदुद्दीन ख़ान की संस्था Centre for Peace & Spirituality ( CPSGLOBAL.ORG ) की Chennai Chapter के इंचार्ज मौलाना हाफ़िज़ सैयद इक़बाल उमरी साहब ने एक ताज़यती मज़मून ब-उनवान “ उस्र में युस्र : मोहम्मद शिकेब अकरम की वफ़ात पर एक तास्सुर” क़लमबंद किया है जो पटना के उर्दू रोज़नामा “ क़ौमी तनज़ीम “ और रांची के रोज़नामा “ आल-हयात “ में प्रकाशित हुआ है.
इस मज़मून में अज़ीज़म शिकेब की कुछ ख़ास ख़ूबियों का ज़िक्र करते हुए मौलाना इक़बाल उमरी लिखते हैं कि , “………..बच्चे के बारे में उसके क़रीबी जानने वालों ने बताया कि शिकेब बिल्कुल सादा मिज़ाज का नौजवान था, एक Well furnished फ़लैट में रहने के बावजूद वह एक रूम में मामूली चटाई बिछा कर सोया करता था और बड़ी ख़ामोशी से ज़रूरतमंदों की मदद किया करता था , अनाथालय जा कर अनाथ बच्चों के साथ भी कुछ वक़्त गुज़ारता था …………….”
अल्लाह तबारक-ओ-तआला से दुआ है कि वह अज़ीज़म शिकेब अकरम की मग़फ़िरत करे, उनको जन्नतुलफ़िरदौस में जगह दे और उनके वालिद मोहम्मद ख़ुर्शीद अकरम और उनकी वाल्दा नुज़हत जहाँ क़ैसर को सब्र-ए-जमील की तौफ़ीक़ अता करे , आमीन !
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सोग्वारान ब-चश्मे पुरनम :-
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