उत्तराखंड में चुनाव प्रचार का शोर थमा, 14 फरवरी को होगा मतदान
देहरादून। उत्तराखंड में राज्य की 70 विधानसभा सीटों पर होने वाले चुनाव के लिए आज प्रचार थम गया है। चुनाव प्रचार के आखिरी दिन कांग्रेस, बीजेपी और आम आदमी पार्टी ने अपनी पूरी ताकत प्रचार में झौंक दी।
14 फरवरी (सोमवार) को राज्य की 70 विधानसभा सीटों पर सुबह 7 बजे से शाम 6 बजे तक मतदान होगा। चुनाव प्रचार के आखिरी दिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ,कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी जैसे भाजपा और कांग्रेस के दिग्ग्जों ने अपनी पार्टियों के पक्ष में माहौल बनाने के लिए पूरी ताकत झोंक दी ।
चुनाव आयोग कार्यालय से मिली जानकारी के अनुसार, शाम छह बजे चुनाव प्रचार का शोर थम गया। हांलांकि, प्रत्याशी अब भी अपने क्षेत्रों में घर-घर जाकर मतदाताओं से संपर्क कर अपने लिए वोट मांग सकेंगे ।
कोरोना वायरस महामारी के साए में हो रहे इस चुनाव में ज्यादातर समय बड़ी राजनीतिक रैलियों और सभाओं पर रोक लगी रही जिसके कारण प्रत्याशियों का प्रचार मतदाताओं से सीधे संपर्क या बडे नेताओं की वर्चुअल रैलियों तक ही सिमटा रहा ।
हांलांकि, आखिरी चरण में चुनावी रैलियों पर रोक हटने से प्रचार ने जोर पकड़ा और नरेंद्र मोदी, अमित शाह, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी, कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी, योगी आदित्यनाथ, मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा की बड़ी जनसभाओं से प्रदेश में चुनावी माहौल गरमा गया ।
चुनाव प्रचार के आखिरी दिन मोदी ने रूद्रपुर, आदित्यनाथ ने टिहरी एवं कोटद्वार, राजनाथ सिंह ने कपकोट, सल्ट और रामनगर, अमित शाह ने धनोल्टी, सहसपुर और रायपुर में जनसभाएं करने के साथ ही घर-घर जाकर मतदाताओं से संपर्क साधा जबकि प्रियंका गांधी ने खटीमा और हल्द्वानी में पार्टी प्रत्याशियों के पक्ष में माहौल बनाने का प्रयास किया ।
रूद्रपुर में चुनावी रैली को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री ने राज्य की जनता से चुनाव में कांग्रेस के ‘तुष्टिकरण के एजेंडा’ को सफल न होने देने की अपील की और कहा कि पहले ही देश के कई राज्यों से उखड चुकी कांग्रेस का पूरा सफाया करने का उन्हें मौका मिला है ।
खटीमा और हल्द्वानी में अपनी रैलियों में प्रियंका गांधी वाड्रा ने महंगाई, बेरोजगारी और किसानों के खराब हालात जैसे मुददे उठाए और कहा कि भाजपा के शासनकाल में जनता के अधिकारों का हनन हो रहा है ।
तीन कृषि कानूनों का जिक्र करते हुए वाड्रा ने कहा कि मोदी सरकार उन्हें किसानों की कीमत पर अपने अरबपति मित्रों की समृद्धि के लिए लायी थी जिसे किसानों के दवाब में उसे वापस लेना पडा । उन्होंने भाजपा पर पांच साल में तीन मुख्यमंत्री बदलने का आरोप भी लगाया । वाड्रा ने जनता से वादा किया कि सत्ता में आने पर उन पर मंहगाई का बोझ नहीं पडने दिया जाएगा और कीमतों को नियंत्रण में रखा जाएगा ।
यद्यपि आम आदमी पार्टी ने कई जगहों पर चुनाव को त्रिकोणीय मुकाबला बनाने का प्रयास किया लेकिन ज्यादातर सीटों पर भाजपा और कांग्रेस के बीच ही सीधा मुकाबला देखा जा रहा है ।
इस बार के चुनावों में खटीमा, लालकुआं और गंगोत्री सीटों को काफी महत्वपूर्ण माना जा रहा है । जहां मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी खटीमा से तीसरी बार जीतने का प्रयास कर रहे हैं वहीं कांग्रेस महासचिव और चुनाव अभियान समिति के अध्यक्ष हरीश रावत लालकुआं से किस्मत आजमा रहे हैं । आप के मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार कर्नल अजय कोठियाल गंगोत्री से चुनावी मैदान में हैं ।