कांग्रेस का राष्ट्रपति भवन मार्च, राष्ट्रपति को दो करोड़ हस्ताक्षर वाला ज्ञापन सौंपा
नई दिल्ली। कृषि कानूनों के विरोध में आज कांग्रेस को विजयचौक से राष्ट्रपति भवन तक मार्च करना था लेकिन पुलिस ने उससे पहले कांग्रेस महासचिव प्रियंक गांधी सहित कई कांग्रेस नेताओं को हिरासत में ले लिया। हालांकि पुलिस ने बाद में उन्हें रिहा कर दिया लेकिन कांग्रेस को मार्च निकालने की अनुमति नहीं दी।
बाद में पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के नेतृत्व में तीन कांग्रेस नेताओं ने राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से मुलाकात कर उन्हें दो करोड़ लोगों के हस्ताक्षर वाला ज्ञापन दिया।
राष्ट्रपति भवन से निकलने के बाद मीडिया से बात करते हुए पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने कहा कि राष्ट्रपति से हमने कहा कि ये जो कानून बनाए गए हैं ये किसान विरोधी हैं और इनसे किसानों,मज़दूरों का नुकसान होने वाला है। मैं प्रधानमंत्री से कहना चाहता हूं कि किसान हटेगा नहीं, प्रधानमंत्री को ये नहीं सोचना चाहिए कि किसान, मज़दूर घर चले जाएंगे।
उन्होंने कहा कि मैं एडवांस में चीज बोल देता हूं, मैंने कोरोना के बारे में बोला था कि नुकसान होने जा रहा है। उस समय किसी ने बात नहीं सुनी। आज मैं फिर से बोल रहा हूं किसान, मज़दूर के सामने कोई भी शक्ति खड़ी नहीं हो सकती।
मीडिया से बातचीत में राहुल गांधी ने एक बार फिर चीन का मुद्दा उठाया। उन्होंने कहा कि चीन ने भारत की हज़ारों किलोमीटर जमीन छीन ली है, PM उनके बारे में क्यों नहीं कहते? एक तरफ आप सिस्टम को तोड़ रहे हो, किसान,मज़दूर को मार रहे हो और बाहर से ताकतें देख रही हैं, कह रही हैं कि नरेंद्र मोदी हिन्दुस्तान को कमजोर कर रहा है, हमारे लिए अच्छे अवसर बनने जा रहे हैं।
हिरासत में ली गईं प्रियंका गांधी तथा अन्य कांग्रेस नेता:
इससे पहले पुलिस ने कांग्रेस को मार्च निकालने से रोकते हुए कई कांग्रेस नेताओं को हिरासत में ले लिया। हिरासत में लिए जाने के बाद कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने कहा कि जवान किसान का बेटा होता है, जो किसानों की आवाज ठुकरा रहा है, अपनी जिद्द पर अड़ा हुआ है जबकि देश का अन्नदाता बाहर ठंड में बैठा है तो उस सरकार के दिल में क्या जवान, किसान के लिए आदर है या सिर्फ अपनी राजनीति, अपने पूंजीपति मित्रों का आदर है?