दीदी के रास्ते में रोड़ा बनने की तैयारी, बसपा ने 220 सीटों पर तय किये उम्मीदवार
नई दिल्ली। पश्चिम बंगाल में हो रहे विधानसभा चुनाव में अब बहुजन समाज पार्टी ने भी चुनावी मैदान में उतरने का एलान कर दिया है। बहुजन समाज पार्टी ने राज्य की 294 सीटों में से 220 सीटों पर अपने उम्मीदवारों के नाम तय कर लिए हैं।
हालांकि पश्चिम बंगाल में बहुजन समाज पार्टी का संगठन बेहद कमज़ोर है और कई जिलों में उसका नाम लेने वाला भी नहीं है। इसके बावजूद बहुजन समाज पार्टी द्वारा 220 सीटों पर उम्मीदवार खड़े करने के एलान को दूसरे एंगिल से देखा जा रहा है।
माना जा रहा है कि बहुजन समाज पार्टी सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस के रास्ते में अवरोध के तौर पर अपने उम्मीदवार खड़े कर रही है। सूत्रों की माने तो पश्चिम बंगाल के लिए बसपा ने जिन उम्मीदवारों के नाम तय किये हैं उनमे सर्वाधिक उम्मीदवार मुस्लिम समुदाय से हैं।
ऐसे में बसपा की कोशिश ममता के मुस्लिम वोटरों में सेंध मारने की रहेगी। पश्चिम बंगाल में मुस्लिम समुदाय का वोटर तृणमूल कांग्रेस का कोर वोटर कहा जाता है। लेकिन यदि बहुजन समाज पार्टी ने मुस्लिम उम्मीदवार मैदान में उतारे तो कई सीटों पर ममता बनर्जी के वोट बैंक को डेंट अवश्य पहुंचेगी।
बहुजन समाज पार्टी (बीएसपी) के पश्चिम बंगाल के प्रदेश अध्यक्ष बालीकरण कोरी के मुताबिक मायावती इस चुनाव को काफी गंभीरता से ले रही हैं। बसपा की कोशिश है कि हर सीट पर कांटे की टक्कर दे।
वहीँ इससे पहले बहुजन समाज पार्टी ने ममता बनर्जी पर कुछ सीटें देने के लिए दबाव बनाया था। टीएमसी सूत्रों के मुताबिक, ममता के समक्ष सबसे बड़ी परेशानी यही थी कि यदि बसपा के लिए कुछ सीटें छोड़ी जाएँ तो समाजवादी पार्टी, राष्ट्रीय जनता दल और झारखंड मुक्ति मोर्चा को भी सीटें देनी होंगी।
इसलिए तृणमूल कांग्रेस ने बहुजन समाज पार्टी के लिए कोई भी सीट छोड़ने से इंकार कर दिया। सूत्रों ने कहा कि टीएमसी के इंकार के बाद ही बहुजन समाज पार्टी ने पश्चिम बंगाल में अपने उम्मीदवार उतारने का फैसला लिया है।