शिक्षा का भगवाकरण : वसुंधरा सरकार ने इतिहास की किताब से पंडित नेहरू का नाम हटाया
नई दिल्ली । राजस्थान में अाठवीं कक्षा की सोशल साइंस की किताबों में से पहले प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू का नाम निकाल दिया गया है। किताब में इस बात का जिक्र ही नहीं है कि भारत के पहले प्रधानमंत्री कौन थे। हालांकि अभी ये किताब बाजार में बिक्री के लिए नहीं आई है।
लेकिन राजस्थान राज्य पाठ्यपुस्तक मंडल की वेबसाइड पर अपलोड की गई किताब की प्रति में महात्मा गांधी, सुभाष चन्द्र बोस, वीर सावरकर, भगत सिंह, लाला लाजपत राय, बाल गंगाधर तिलक जैसे बड़े नेताओं का नाम है, पर नेहरू समेत दूसरे कांग्रेसी नेताओं के नाम हटा दिए गए हैं।साथ ही गांधीजी की हत्या करने वाले नाथू राम गोड्से का भी जिक्र किताब में नहीं है।
यह किताब पाठ्यक्रम नवीनीकरण के नाम पर दुबारे लिखी गई हैं और राजस्थान बोर्ड की क्लास आठ में पढ़ाई जाएगी। किताब के पुराने एडीशन में राष्ट्रीय स्वतंत्रता आंदोलन चैप्टर में पं नेहरू के योगदान को मुख्य तौर पर बताया गया था साथ ही आजादी के बाद के भारत के चैप्टर में भी पं नेहरू और सरदार पटेल के सरकार बनाने में योगदान को भी प्रमुखता से बताया गया था।
नए एडिशन के स्वतंत्रा आंदोलन के नए चैप्टर में पं नेहरू, सरोजनी नायडू, मदन मोहन मालवीय जैसे नेताओं का जिक्र नहीं है। आजादी के बाद के भारत पर अधारित चैप्टर में राजेन्द्र प्रसाद के भारत के पहले राष्ट्रपति के तौर पर और सरदार पटेल का भारत को एक करने के लिए दिए गए योगदान का जिक्र है लेकिन नेहरू के विषय में कुछ नहीं लिखा गया है।
जब इस चूक के विषय में स्कूल शिक्षा मंत्री वासूदेव देवनानी से पूछा गया तो उन्होंने कहा, ” इससे सरकार का और मेरा इस सबसे कुछ भी लेना-देना नहीं है। पाठ्यक्रम का नवीनीकरण का काम एक स्वतंत्र बॉडी ने किया है और सरकार की उनके काम में कोई दखल नहीं है।”