विरोध के बावजूद 12 साल बाद एक हुआ हिंदू-मुस्लिम जोड़ा, परिवार ने कहा- नहीं है यह ‘लव जिहाद’

विरोध के बावजूद 12 साल बाद एक हुआ हिंदू-मुस्लिम जोड़ा, परिवार ने कहा- नहीं है यह ‘लव जिहाद’

ashitha

मैसूर । कर्नाटक के मैसूर में हिंदू संगठनों की धमकियों के बीच हिंदू युवती और मुस्लिम युवक ने प्रेम विवाह कर लिया। मैसूर की अशिता बाबू और शकील अहमद एक दूसरे से 12 साल से प्‍यार करते थे और शादी करना चाहते थे। अब दोनों ने शादी कर ली। इस बीच बजरंग दल जैसे हिंदूवादी संगठन विरोध में अड़े रहे।

शकील से शादी करने के बाद अशिता ने अपना धर्म बदला और वह शाइस्ता बन गईं। 12 अप्रैल को निकाह के दौरान हिंदू संगठन अशिता के घर के बाहर डेरा जमाए विरोध करते रहे और अंदर निकाह पढ़ा जाता रहा। दोनों के प्यार का बजरंग दल और हिंदू संगठनों ने विरोध भी किया लेकिन परिवार शादी पर अड़ा रहा। अशिता और शकील दोनों की उम्र 28 साल है और दोनों 12 साल से एक दूसरे के रिलेशशनशिप में थे।

कर्नाटक के मंड्या में दोनों पड़ोसी थे। लेकिन शकील का परिवार बाद में दूसरी जगह शिफ्ट हो गया। अशिता और शकील ने स्कूल और कॉलेज की पढ़ाई साथ ही की थी। दोनों ने एमबीए साथ में पूरा किया। दोनों के प्यार की खबरों को लेकर परिवारों में भी जैसी ही शादी की बात शुरू हुई, इसे लेकर प्रदर्शन शुरू हो गया। पुलिस ने मंड्या में 2 प्रदर्शनकारियों को अरेस्ट भी किया।

हिंदू संगठनों के विरोध के बीच दोनों परिवारों को सामाजिक कार्यकर्ताओं का काफी समर्थन मिला। विवाह के संपन्न होते ही जहां VHP की ओर से मामले को जबरदस्ती बताया गया और इसे ‘लव जिहाद’ का नाम देने पर उतारू रहे। कर्नाटक में वीएचपी सेक्रेट्री बी सुरेश ने कहा- यह लव जिहाद है। अगर यह प्यार है तो हमें कोई आपत्ति नहीं, लेकिन यह मामला जबरदस्ती का लग रहा है। लेकिन, दोनों परिवारों ने इन विरोध प्रदर्शनों को अपने सेलिब्रेशन में रोड़ा नहीं बनने दिया।

अशिता के पिता नरेंद्र बाबू एक डॉक्टर हैं उन्होंने शादी स्थल पर जाते हुए कहा- भारत में हम सब समान हैं। लिहाजा यह विरोधियों को संदेश है। उन्हें यह समझना चाहिए। जब सब जश्न मना रहे हों और सिर्फ 0.01 फीसदी लोग विरोध कर रहे हों तो फर्क क्या पड़ता है।

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