तीन तलाक के मुद्दे पर नीतीश की पार्टी ने बनाई एनडीए से दूरी

तीन तलाक के मुद्दे पर नीतीश की पार्टी ने बनाई एनडीए से दूरी

नई दिल्ली। लोकसभा में पेश तीन तलाक बिल को लेकर नीतीश कुमार की पार्टी जनता दल यूनाइटेड ने एनडीए से दूरी बना ली है। तीन ततलक बिल को लेकर जनता दल यूनाइटेड ने मोदी सरकार से असहमति जताई है।

जनता दल यूनाइटेड पहले ही कह चूका है कि बिना व्यापक परामर्श के मुसलमानों पर कोई भी विचार नहीं थोपा जाना चाहिए। जेडीयू सूत्रों की माने तो मोदी सरकार के प्रस्तावित विधेयक में मुसलमानों की तीन तलाक की प्रथा को अपराध की श्रेणी में डालने पर जोर दिया है।

जेडीयू ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के पहले कार्यकाल के दौरान इस विधेयक का विरोध किया था. पार्टी ने अपना रुख दोहराते हुए स्पष्ट किया है कि जेडीयू अपने रुख पर दृढ़ता से कायम है।

गौरतलब है कि बिहार में विधानसभा चुनाव को मद्देनज़र जनता दल यूनाइटेड मुस्लिम विरोधी छवि से बचना चाहती है। हाल ही में हुए लोकसभा चुनाव जनता दल यूनाइटेड ने बीजेपी के साथ गठबंधन कर लडे थे। लोकसभा चुनाव के प्रचार के दौरान कई मौके ऐसे आये जब नीतीश कुमार की मौजूदगी में चुनावी मंचो से वन्देमातरम और जयश्रीराम के नारे भी लगे।

बीजेपी के रुख को भांप कर आगे बढ़ रही जनता दल यूनाइटेड तीन तलाक बिल का समर्थन नई करेगी। यह अलग बात है कि लोकसभा में वोटिंग के दौरान जनता दल यूनाइटेड सदन से बाहर चले जाएँ लेकिन किसी भी हाल में जनता दल यूनाइटेड संसद में तीन तलाक बिल के पक्ष हाथ उठाने के पक्ष में नहीं है।

वहीँ दूसरी तरफ बिहार मुख्यमंत्री और बीजेपी नेता सुशील मोदी ने नीतीश कुमार और जनता दल यूनाइटेड का नाम लिए बिना नसीहत करते हुए कहा कि तीन तलाक जैसी कुप्रथा पर रोक लगाने की संवैधानिक पहल को धार्मिक या चुनावी राजनीति के नजरिये से देखने के बजाय इसे महिला सशक्तीकरण के व्यापक नजरिये से देखा जाना चाहिए। ट्विटर पर सुशील मोदी ने जनता दल यूनाइटेड की तरफ इशारा करते हुए कहा कि कांग्रेस पार्टी की तरह इस मुद्दे पर गलती ना करें।

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TeamDigital