गुलाम नबी आज़ाद बोले ‘राज्यसभा चुनाव की रात भी ‘भारत छोड़ो आंदोलन’ से कम नहीं थी’

नई दिल्ली। संसद में ‘भारत छोड़ो आंदोलन’ की 75वीं वर्षगांठ के मौके पर बोलते हुए राज्यसभा में कांग्रेस सांसद गुलाम नबी आज़ाद ने कहा कि वे मंगलवार की रात को गुजरात में जो कुछ हुआ, उसका उल्लेख नहीं करना चाहते, लेकिन कल की रात भी बिल्कुल वही रात लग रही थी। क्योंकि आज से 75 साल पहले की रात को भी सभी लोग जागे हुए थे और कल की रात भी वही हुआ।
गुलाम नबी आजाद ने आजादी से पहले की रात को याद करते हुए कहा कि उस रात जब भारत की आजादी को लेकर रेजोल्यूशन पास हुआ तो गांधीजी से लेकर जवाहर लाल नेहरू, सरदार पटेल और कांग्रेस वर्किंग कमेटी के तमाम सदस्यों को गिरफ्तार कर लिया गया। 9 अगस्त को कांग्रेस पर प्रतिबंध लगा दिया गया. अखबारों पर भी बैन लगाया गया।
उन्होंने कहा कि उस समय पूरे देश में हलचल मची हुई थी और ठीक 75 साल बाद गुजरात में भी वही रात दोहराई गई। उस बार कांग्रेस ने देश की आजादी की लड़ाई लड़ी तो इस बार सत्य की लड़ाई लड़ी. और आखिर में सत्य की ही जीत हुई।
भारत छोड़ो आंदोलन के दिनों को याद करते हुए नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि सबसे बड़ी बात यह है कि आप हमेशा उसूलों के साथ रहें, उसी जज्बे के साथ रहें जो उस समय महात्मा गांधी, पंडित नेहरू, सरदार पटेल, सुभाष चंद बोस, मौलाना आजाद और उनके साथियों में था और वह जज्बा था देश के लिए कुर्बानी का था। अगर हमें उस कुर्बानी पर भरोसा है तो तमाम मुसीबतों का सामना किया जा सकता है।
गुलाम नबी आजाद ने कहा कि यदि आप सही मायनों में उस समय के नेताओं, शहीदों, किसानों, मजदूरों, पत्रकारों आदि को श्रद्धांजलि देना चाहते हैं तो सबसे पहले अपने मन साफ करने होंगे।