कौन था फ़िरोज़ शाह जिसका नाम हटाकर अरुण जेटली के नाम पर होगा स्टेडियम
नई दिल्ली। दिल्ली के फिरोजशाह स्टेडियम का नाम बदलकर दिवंगत बीजेपी नेता अरुण जेटली के नाम पर रखा जाएगा। दिल्ली एवं जिला क्रिकेट संघ (डीडीसीए) ने मंगलवार को इस फैसले का एलान किया।
12 सितंबर को जवाहर लाल नेहरू स्टेडियम में एक कार्यक्रम का आयोजन होगा जिसमे विधिवत स्टेडियम के नए नाम का एलान किया जाएगा। स्टेडियम के एक स्टेण्ड का नाम भी भारतीय क्रिकेट टीम के कप्तान विराट कोहली के नाम पर रखने का प्रस्ताव है।
डीडीसीए अध्यक्ष रजत शर्मा ने कहा, ‘वह अरुण जेटली का सहयोग और प्रोत्साहन था जो कि विराट कोहली, वीरेंद्र सहवाग, गौतम गंभीर, आशीष नेहरा, ऋषभ पंत और कई अन्य खिलाड़ियों ने भारत को गौरवान्वित किया।’
गौरतलब है कि अरुण जेटली काफी समय तक डीडीसीए के अध्यक्ष पद पर रहे थे। जेटली को स्टेडियम को आधुनिक सुविधाओं से युक्त बनाने और दर्शक क्षमता बढ़ाने के साथ विश्वस्तरीय ड्रेसिंग रूम बनवाने का श्रेय जाता है।
कौन था फिरोज शाह ?
फ़िरोज़ शाह तुगलक दिल्ली सल्तनत में तुगलक वंश का शासक था। फ़िरोजशाह तुगलक का जन्म 1309 को हुआ था। फ़िरोज़ शाह तुगलक 45 वर्ष की उम्र में दिल्ली सल्तनत की गद्दी पर बैठा था। उसने अपने शासन में चांदी के सिक्के चलाये। 1351 में ताजपोशी के साथ ही उसने अपनी रियासत के सभी कर्जे माफ कर दिए।
फिरोज शाह ने शासक बनने के बाद बहुत सारे उन निर्णयों को वापस ले लिया जोकि उसके पूर्व के शासकों ने लिए थे। फिरोज शाह तुगलक ने अपने पुत्र फ़तेह खान के जन्मदिवस पर फतेहाबाद शहर की स्थापना की।
इतिहासकार फिरोजाबाद को दिल्ली का पांचवां शहर मानते हैं। फिरोज के शासनकाल में दासों की संख्या लगभग 1,80,000 पहुंच गई थी। इनकी देखभाल हेतु ‘दीवान-ए-बंदग़ान’ की स्थापना हुई। कुछ दास प्रांतों में भेजे गये और शेष को केंद्र में रखा गया। दासों को नकद वेतन या भूखण्ड दिए गये। आपको बता दें कि हौज खास में फिरोजशाह तुगलक का मकबरा है। फिरोजशाह के शासन में दिल्ली में कई मस्जिदें भी बनाई गईं।