एनआरसी पर दीदी की मोदी सरकार को खरी खरी: बंगाल में नहीं होने दुंगी ऐसा
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कोलकाता। पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने केंद्र सरकार द्वारा पश्चिम बंगाल में एनआरसी लागू किये जाने की आशंका जताते हुए कहा कि केंद्र सरकार बंगाल में ऐसा नहीं कर पाएगी। उन्होंने कहा कि एनआरसी के नाम पर पश्चिम बंगाल के किसी व्यक्ति को छुआ तो उसके गंभीर नतीजे होंगे।
तृणमूल कांग्रेस द्वारा असम में जारी राष्ट्रीय नागरिक पंजीकरण (एनआरसी) के खिलाफ निकाले गए विरोध मार्च के बाद पार्टी कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए ममता बनर्जी ने कहा कि असम में लोगों की आवाज बंद की गई है, ऐसा बंगाल में नहीं होगा। यह मार्च उत्तर कोलकाता के बीटी रोड पर चिड़िया मोड़ से लेकर श्यामबाजार फाइव प्वाइंट तक निकाला गया।
असम में एनआरसी के विरोध में कार्यकर्ताओं के साथ सड़क पर उतरीं ममता बनर्जी ने मोदी सरकार और बीजेपी को चुनौती देते हुए कहा कि आपने जिस तरह असम में अपनी पुलिस का इस्तेमाल कर लोगों की आवाज दबाई, वैसा यहां बंगाल में नहीं कर पाओगे। ममता ने कहा कि अचानक आप हमें (तृणमूल कांग्रेस को) धर्म पर ज्ञान दे रहे हैं, जैसे हम ईद, दुर्गा पूजा, मुहर्रम और छठ पूजा मनाते ही ना हों।‘
गौरतलब है कि असम में 31 अगस्त को जारी की गयी एनआरसी की फाइनल लिस्ट में करीब 19 लाख लोगों के नाम गायब हैं। कई मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया गया है कि असम एनआरसी की फाइनल लिस्ट में जिन लोगों के नाम नहीं हैं उन्हें हिरासत में लेकर डिटेंशन कैम्प में रखने की तैयारियां चल रही हैं।
हालाँकि केंद्र और राज्य सरकार ने कहा है कि जिन लोगों के एनआरसी की फाइनल लिस्ट में नाम नहीं हैं उनमे से फ़िलहाल किसी को गिरफ्तार करने का इरादा नहीं है। इसके बावजूद गुवाहटी के समीप बनाये जा रहे डिटेंशन कैम्प का निर्माण चल रहा है, जिसे लेकर सवाल उठ रहे हैं।