अनूठी पहल: बक्सर जिले के सभी 1489 आंगनवाडी केन्द्रों पर हुई गोदभराई की रस्म
बक्सर(सुमन मिश्रा): बिहार के बक्सर जिले में गर्भवती महिलाओं के स्वास्थ्य को लेकर अनूठी पहल शुरू की गयी है। इसके लिए जिले के सभी आंगनवाड़ी केन्द्रों पर सोमवार को गोदभराई कार्यक्रम का आयोजन किया गया.
इस कार्यक्रम में सात से नौ महीने की गर्भवती महिलाओं की गोदभराई की गयी. इस दौरान गर्भवती महिलाओं व बच्चों के देखभाल को लेकर कई जानकारी भी दी गयी .
उत्सवी माहौल में की गयी गोदभराई : शहर और ग्रामीण क्षेत्रों के केन्द्रो पर गर्भवती महिलाओं को लाल चुनरी ओढा कर एवं माथे पर लाल टीका लगा कार्यक्रम की शुरुआत हुई. महिलाओं को विभिन्न व्यंजनों में शामिल सतरंगी फल, सूखे मेवे भी भेंट की गयी. रस्म की शुरुआत लाभार्थी चंदा कुमारी,पति कौशल कुमार के साथ हुआ. इस दौरान पोषक आहार में फल और मेवे का वितरण हुआ. साथ ही गर्भावस्था के दौरान पोषक आहार सेवन के विषय में गर्भवतियों को भी जागरूक किया गया.
जिले के डुमराव प्रखंड के अंतर्गत पासवान टोला के आंगनवाड़ी संख्या 47 केंद्र की कार्यकर्ता लीलावती देवी ने बताया कि गोदभराई का मुख्य उद्देश्य गर्भावस्था के आखिरी दिनों में बेहतर पोषण की जरूरत के विषय में गर्भवतियों को अवगत कराना है. गर्भावस्था के आखिरी दिनों में अधिक पोषण की जरूरत होती है.
माता एवं गर्भस्थ शिशु के बेहतर स्वास्थ्य एवं प्रसव के दौरान होने वाली संभावित जटिलताओं में कमी लाने लाने के लिए गर्भवती के साथ परिवार के लोगों को भी अच्छे पोषण पर ध्यान देना चाहिए. बेहतर पोषण एक स्वस्थ बच्चे के जन्म में सहायक होने के साथ गर्भवती महिलाओं में मातृ मृत्यु दर में कमी भी लाता है.
आखिरी महीनों में जरुरी है बेहतर पोषण: गर्भ के आखिरी महीनों में शरीर को अधिक पोषक तत्वों की जरूरत होती है.इस दौरान आहार में प्रोटीन, विटामिन, कार्बोहाइड्रेट के साथ वसा की भी मात्रा होना जरुरी होता है.
इसके लिए समेकित बाल विकास योजना के अंतर्गत आंगनवाडी केन्द्रों में गर्भवती महिलाओं को साप्ताहिक पुष्टाहार भी वितरित किया जाता है. इसके साथ महिलाएं अपने घर में आसानी से उपलब्ध भोज्य पदार्थों के सेवन से भी अपने पोषण का ख्याल आसानी से रख सकती हैं. हरी साग-सब्जी, सतरंगी फल, दाल, सूखे मेवे एवं दूध के सेवन से आवश्यक पोषक तत्वों की आपूर्ति आसानी से की जा सकती है.